उल्हासनगर में दिव्यांग को घर में घुसकर की गई बेरहमी से पिटाई, पुलिस ने केवल एनसी दर्ज कर मामले को दबाया!

प्रहार जनशक्ति पार्टी ने 12 तारीख को केंद्रीय पुलिस स्टेशन के बाहर आंदोलन की चेतावनी दी
उल्हासनगर। नीतू विश्वकर्मा
महाराष्ट्र में कानून व्यवस्था को लेकर एक बार फिर सवाल खड़े हो रहे हैं। उल्हासनगर में दिव्यांग व्यक्ति कुलदीप दर्शनसिंह लबाना पर कुछ असामाजिक तत्वों ने घर में घुसकर बेरहमी से हमला किया, लेकिन हैरानी की बात यह है कि इस गंभीर मामले में केंद्रीय पुलिस स्टेशन ने केवल एनसी (गैर-संज्ञेय अपराध) दर्ज कर मामले को नजरअंदाज कर दिया।
इस घटना से दिव्यांग समुदाय में आक्रोश है और सवाल उठ रहे हैं कि यदि दिव्यांग व्यक्ति भी अपने ही घर में सुरक्षित नहीं हैं, तो फिर आम नागरिकों की सुरक्षा की क्या गारंटी है? पीड़ित पर हमला स्पष्ट रूप से दिव्यांग अधिकार कानून का उल्लंघन है, फिर भी पुलिस ने संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज नहीं किया।
प्रहार जनशक्ति पार्टी ने पुलिस के इस रवैये की निंदा करते हुए चेतावनी दी है कि यदि इस मामले में उचित धाराओं के तहत कार्रवाई नहीं की गई, तो 12 तारीख को केंद्रीय पुलिस स्टेशन के बाहर दिव्यांगों के साथ बड़ा आंदोलन किया जाएगा। संगठन ने सभी दिव्यांग नागरिकों से अपील की है कि वे न्याय की मांग के लिए बड़ी संख्या में उपस्थित रहें।
यह मामला पुलिस की निष्क्रियता और संवेदनशील वर्ग के प्रति उदासीनता को दर्शाता है। अब देखना यह है कि पुलिस प्रशासन इस चेतावनी के बाद क्या कदम उठाता है, या फिर एक बार फिर न्याय को दबा दिया जाएगा।